राजस्थान इस राज्य का नाम सुनते ही बड़े-बड़े महल, विश्व प्रसिद्ध महल या किले ही दिमाग में आते हैं। शायद इसीलिए हर महीने लाखों देशी-विदेशी पर्यटक इस राज्य में आते हैं।
राजस्थान के जैसलमेर शहर से करीब 20 किमी की दूरी पर स्थित कुलधरा गांव एक ऐसी जगह है जिसके बारे में सुनकर कई लोगों की रूह कांप जाती है।
इस गांव से एक नहीं बल्कि कई रहस्यमयी और डरावनी घटनाएं जुड़ी हुई हैं।
कुलधरा गांव का इतिहास बेहद ही दिलचस्प है। यह माना जाता है कि प्राचीन काल में इस गांव को ब्राह्मणों द्वारा बसाया गया था। कई लोगों का मानना है कि कधान नमक पाली के एक ब्राह्मण ने इस गांव को बसाया था।
इस गांव में मौजूद शिलालेख और नक्काशी के आधार कई कई लोगों का भी मानना था कि यहां कई वर्षों तक सिर्फ ब्राह्मणों का ही राज था और सलीम सिंह नाम के ब्राह्मण का राज चलता था। वो अन्य लोगों से वसूली भी करता था।
लोककथा के अनुसार यह गांव 50-100 साल से नहीं बल्कि 200 सालों से भी अधिक समय से यह वीरान पड़ा हुआ है। एक समय इस गांव में हर तरह हरियाली और चहल-पहल रहती थी। इस गांव को सरस्वती नदी के किनारे बसाया गया था।
कुलधरा गांव की रहस्यमयी कहानी लाखों लोगों के लिए दिलचस्प विषय है। लोककथाओं के अनुसार, इसका जमींदार सालिम सिंह आम लोगों से गलत तरीके से ब्याज या कर वसूल करता था। इसके अलावा कई लोगों का यह भी मानना है कि सलीम सिंह गांव की महिलाओं और बेटियों पर गंदी नजर रखता है.
आगे की जानकारी